एलोपैथी (Allopathy) के इलाज पर विवादों में घिरे योगगुरु बाबा रामदेव (Baba Ramdev) भी अब कोरोना वायरस की वैक्सीन लगवाने के लिए तैयार हो गए हैं. योग गुरु का कहना है कि वह कोरोना का टीका लगवाएंगे। बाबा रामदेव ने खुद टीका लगवाने का ऐलान करने के साथ ही अन्य लोगों से भी वैक्सीन लेने की अपील की है। इसके साथ ही रामदेव ने पीएम नरेंद्र मोदी (PM Modi) की ओर से देश के सभी लोगों को मुफ्त वैक्सीन लगाए जाने का ऐलान करने की भी तारीफ की।
अच्छे डॉक्टर इस धरती पर भगवान द्वारा भेजे गए दूत
रामदेव ने कहा कि योग और आयुर्वेद के साथ ही टीका भी लेना जरूरी है। इसके साथ ही बीते कई दिनों से एलोपैथी चिकित्सा पद्धति और डॉक्टरों पर निशाना साधने वाले बाबा रामदेव ने कहा कि अच्छे डॉक्टर देवदूत के समान होते हैं।
स्वामी रामदेव ने ड्रग माफियाओं पर टिप्पणी करते हुए कहा, ‘हमारी किसी संगठन के साथ दुश्मनी नहीं है और सभी अच्छे डॉक्टर इस धरती पर भगवान द्वारा भेजे गए दूत हैं. लड़ाई देश के डॉक्टरों से नहीं है, जो डॉक्टर हमारा विरोध कर रहे हैं, वह किसी संस्था के जरिए नहीं कर रहे हैं.’
बाबा रामदेव ने कहा, ‘इसमें कोई संदेह नहीं है कि एलोपैथी और सर्जरी आपातकालीन मामलों के लिए बेहतर हैं. चाहते हैं कि कि दवाओं के नाम पर किसी को परेशान न किया जाए और लोगों को ड्रग माफियाओं से छुटकारा मिले.’
रामदेव ने लोगों से अपील करते हुए कहा कि वह योग और आयुर्वेद का अभ्यास करें. योग बीमारियों के खिलाफ एक ढाल के रूप में काम करता है और कोरोना से होने वाली जटिलताओं से बचाता है.
रामदेव और आईएमए के बीच विवाद
बाबा रामदेव ने कोरोनावायरस से हो रही मौतों को ऐलोपैथी से जोड़कर एक बड़ा विवादित बयान दिया था. इससे पहले उन्होंने कोरोना टीकों के असरदार होने को लेकर सवाल उठाया था। उन्होंने यहां तक कहा था कि हजारों डॉक्टरों को वैक्सीन लेने के बाद भी कोरोना हो गया और तमाम मर भी गए जिसके बाद डॉक्टरों के सबसे बड़े संगठन आईएमए ने योग गुरू के खिलाफ मोर्चा खोल दिया था.
आईएमए उत्तराखंड ने बाबा को नोटिस भेजकर मानहानि का केस भी किया था और उनसे 15 दिन के अंदर माफी मांगने के लिए भी कहा था. आईएमए उत्तराखंड और दिल्ली मेडिकल एसोसिएशन के साथ बाबा रामदेव के विवाद को बढ़ता देख केंद्रीय मंत्री हर्षवर्धन ने योग गुरू को एक चिट्ठी भी लिखी थी. इस पत्र के बाद बाबा रामदेव ने अपने बयानों को वापस लेते हुए खेद जताया था.