मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल के सबसे बड़े ‘कमला नेहरू अस्पताल’ की बिल्डिंग में संचालित हमीदिया अस्पताल (Hamidia Hospital ) के पीडियाट्रिक वार्ड में सोमवार को लगी आग में 4 बच्चों की मौत हो गई. इनमें से 3 का दम धुएं में दम घुट गया. आग तीसरी मंजिल पर स्थित नवजात गहन चिकित्सा इकाई ( NICU) में लगी. वार्ड में तब 40 बच्चे एडमिट थे, जिन्हें दूसरी जगह शिफ्ट किया गया.
21 साल पुरानी इस बिल्डिंग में फायर हाइड्रेड लंबे समय से मेंटेनेंस के अभाव में खराब पड़े हैं. सिर्फ एक फायर एस्टिग्यूसर के भरोसे पूरी सुरक्षा व्यवस्था थी. नतीजा, जब शॉर्ट सर्किट से आग भड़की, तो 15 मिनट तक तांडव मचाती रही.
आग पर 15 मिनट बाद काबू पाया जा सका. आगे के चलते NICU में इतना धुआं भर गया कि बच्चों को बाहर निकालने में पसीना छूट गया. यहां के दो वार्डों में 40 बच्चे एडमिट थे. आग के चलते बिजली सप्लाई बंद करने से अस्पताल के अन्य वार्डों के जीवनरक्षक उपकरण बंद हो गए, जिससे अफरा-तफरी मच गई.
जब अस्पताल के NICU में आग लगी, तब वहां स्टाफ नर्सें और डॉक्टर मौजूद थे. बच्चों को बचाने वार्ड में लगे कांच तोड़ दिए गए, ताकि धुआं बाहर निकल सके. हादसा सोमवार रात 8 बजे हुआ.
घटना की जानकारी लगते ही चिकित्सा शिक्षा मंत्री विश्वास सारंग(Vishvas Sarang) भागे-भागे अस्पताल पहुंचे. अब मुख्यमंत्री शिवराज सिंह इस मामले को लेकर गंभीर हुए हैं. मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मामले की जांच कराने का ऐलान किया है.
CM ने tweet करके कहा-भोपाल के कमला नेहरू अस्पताल के चाइल्ड वार्ड में आग की घटना दु:खद है. बचाव कार्य तेजी से हुआ. घटना की उच्चस्तरीय जांच के निर्देश दिए हैं. जांच ACS लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा मोहम्मद सुलेमान करेंगे.