राजधानी दिल्ली में मंगलवार को कुछ हिन्दू संगठनों के सदस्यों द्वारा ऐतिहासिक इमारत कुतुब मीनार (Qutub Minar) के पास हनुमान चालीसा पाठ किया गया। इसके साथ ही हिन्दू संगठनों द्वारा इसका नाम कुतुब मीनार का नाम बदलकर विष्णु स्तंभ करने की मांग की गई है।
जानकारी के अनुसार, मंगलवाल सुबह से ही कुतुब मीनार के पास हिन्दू संगठनों का प्रदर्शन जारी है। हिंदू संगठन महाकाल मानव सेवा के सदस्यों ने कुतुब मीनार के पास हनुमान चालीसा पाठ कर विरोध जताया। हिन्दू संगठनों का दावा है कुतुब मीनार वास्तव में विष्णु स्तंभ है। इस मीनार का निर्माण जैन और हिंदू मंदिरों को ध्वस्त करके किया गया था।
हालांकि, इसकी जानकारी मिलते ही मौके पर पहुंची पुलिस ने कुछ लोगों को हिरासत में ले लिया है। पुलिस द्वारा कुतुब मीनार परिसर की सुरक्षा व्यवस्था और कड़ी कर दी गई है। यह प्रदर्शन उस समय हुआ है, जब ताज महल को तेजो महालय बताकर उसके 22 कमरे खुलवाकर जांच कराने की मांग को लेकर इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच में याचिका दाखिल की गई है।
वहीं, कुतुब मीनार के पास हनुमान चालीसा नहीं पढ़ने देने को लेकर दिल्ली पुलिस ने यूनाइटेड हिंदू फ्रंट के अंतरराष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष और राष्ट्रवादी शिव सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष जयभगवान गोयल को हाउस अरेस्ट कर लिया है। इन प्रदर्शनकारियों की मांग है कि भारत एक सनातन भूमि है इसलिए कुतुब मीनार के साथ ही सभी मुगलकालीन इमारतों और सड़कों का नाम भी बदला जाना चाहिए।
यूनाइटेड हिंदू फ्रंट के अंतरराष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष जयभगवान गोयल ने दावा किया है कि कुतुब मीनार को 27 जैन और हिंदू मंदिरों को तोड़कर बनाया गया था। परिसर में मौजूद हिंदू देवी-देवताओं की मूर्तियों का जीर्णोद्धार होना चाहिए और हिंदुओं को परिसर में पूजा करने की इजाजत मिलनी चाहिए।
कुतुब मीनार असल में विष्णु स्तंभ है – विनोद बंसल
विश्व हिंदू परिषद के प्रवक्ता विनोद बंसल ने पिछले महीने कहा था कि कुतुब मीनार असल में विष्णु स्तंभ है। कुतुब मीनार को 27 जैन और हिंदू मंदिरों को तोड़कर बनाया गया था। उन्होंने कहा था कि जो भी मंदिर तोड़े गए थे, उनका पुनर्निर्माण किया जाए। इसके साथ ही हिंदुओं को कुतुब मीनार में पूजा करने की अनुमति दी जाए।
पूर्व BJP सांसद तरुण विजय भी उठा चुके हैं सवाल
BJP के पूर्व सांसद तरुण विजय भी कुतुब मीनार को लेकर कई सवाल खड़े कर चुके हैं। उन्होंने कहा था कि कुतुब मीनार परिसर में गणेश की उल्टी प्रतिमा है और एक जगह उनकी प्रतिमा को पिंजरे में बंद किया गया है, इससे हिंदुओं की भावनाएं आहत होती हैं। तरुण विजय ने कहा था कि गणेश मूर्तियों को या तो हटा दिया जाना चाहिए या उन्हें ‘सम्मानपूर्वक’ स्थापित किया जाना चाहिए।