कांग्रेस के दिग्गज नेता और पूर्व केंद्रीय संचार मंत्री पंडित सुखराम शर्मा का आज निधन हो गया। उनका दिल्ली के एम्स में इलाज चल रहा था। 94 साल की उम्र में उन्होंने आखिरी सांसें ली.
उनके निधन की जानकारी उनके पोते आश्रय शर्मा ने सोशल मीडिया पोस्ट के माध्यम से दी। उनके पोते आश्रय शर्मा ने फेसबुक पोस्ट पर दादा के साथ वाली एक तस्वीर साझा की है। इसके साथ उन्होंने लिखा है कि अलविदा दादाजी, अभी नहीं बजेगी फोन की घंटी।
सुखराम को सात मई को नई दिल्ली स्थित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) में भर्ती कराया गया था। उन्हें चार मई को मनाली में ब्रेन स्ट्रोक का अटैक आया था, जिसके बाद उन्हें बेहतर इलाज के लिए दिल्ली के एम्स में लाया गया था। जहां उन्होंने आखिरी सांसें ली।
वहीं, पारिवारिक सूत्रों के अनुसार, बृहस्पतिवार सुबह 11 बजे पंडित सुखराम शर्मा के पार्थिव शरीर को अंतिम दर्शनों के लिए हिमाचल प्रदेश के मंडी शहर के ऐतिहासिक सेरी मंच पर रखा जाएगा। यहां पर स्थानीय नेता उनके अंतिम दर्शन कर सकेंगे, और फिर इसके बाद हनुमानघाट स्थित शमशानघाट पर उनका पूरे राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया जाएगा।
पंडित सुखराम के निधन पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर, भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा व राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर ने गहरा शोक जताते हुए इसे प्रदेश के लिए अपूरणीय क्षति बताया है।
सुखराम शर्मा हिमाचल प्रदेश में कांग्रेस के बड़े नेता थे। पंडित सुखराम 1993 से 1996 केंद्रीय संचार राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) रहे थे। वे मंडी लोकसभा सीट पर सांसद भी रहे थे। उन्होंने पांच बार विधानसभा और तीन बार लोकसभा चुनावों में जीत हासिल की थी।