कानपुर के इत्र कारोबारी पीयूष जैन को महानगर मजिस्ट्रेट कारपोरेशन की कोर्ट ने 14 दिनों के न्यायिक हिरासत में भेज दिया है. कानपुर में 180 करोड़ रुपये बरामद होने के बाद के बाद कन्नौज से करोड़ों का कैश, 125 किलो सोना और अरबों की संपत्ति के दस्तावेज मिले हैं.
डीजीजीआई ने बताया कि पीयूष जैन के घरों से अब तक 194 करोड़ से ज्यादा कैश बरामद हुए. फिलहाल अभी ऑपरेशन जारी हैं. रविवार रात को गिरफ्तार करने के बाद पीयूष जैन को आज रिमांड मजिस्ट्रेट के सामने पेश किया गया.
बता दें कि 50 घंटे से भी ज्यादा लंबी पूछताछ के बाद रविवार को पीयूष जैन को गिरफ्तार किया गया, जिसके बाद पीयूष की पहली रात कानपुर के काकादेव थाने में में गुजरी. कारोबारी पीयूष जैन को गिरफ्तार किए जाने के बाद पूछताछ के लिए काकादेव थाने लाया गया था जहां वो सोमवार की सुबह एक कमरे में कंबल ओढ़कर फर्श पर सोए हुए पाए गए. उन्हें थाना परिसर में बने महिला हेल्प डेस्क के केबिन में सोने के लिए जगह दी गई थी.
सोमवार को भी पीयूष जैन के पैतृक आवास पर जांच एजेंसियां छापेमारी कर रही हैं. वहां डीजीजीआई की टीम के साथ एसबीआई की भी एक टीम नोट गिनने की तीन मशीनें के साथ पहुंची है. माना जा रहा है कि सोमवार की शाम तक नोटों की गिनती चलेगी जिसके बाद देर रात कुल कितनी रकम बरामद की गई है उसकी जानकारी सामने आएगी.
22 दिसंबर को जिस वक्त पीयूष जैन के ठिकानों पर छापेमारी शुरू हुई थी उस वक्त वो अपने पिता के इलाज के सिलसिले में दिल्ली में थे. जांच टीम के बुलाने पर पीयूष जैन को दिल्ली से कानपुर पहुंचना पड़ा. पड़ताल में ये भी सामने आया है कि पीयूष जैन अपने अकूत पैसे की वजह से जांच एजेंसियों और लोगों की नजर में ना आए इसके लिए वो दो पुरानी खटारा कारों का इस्तेमाल करते थे.