लखीमपुर खीरी में हुई किसानों की मौत के बाद अब विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है. मृतक किसान गुरविंदर सिंह की पोस्टमार्टम रिपोर्ट में गड़बड़ी की बात कह कर परिजन फिर से पोस्टमार्टम करवाने पर अड़े हैं. परिजनों ने मंत्री के बेटे को बचाने का आरोप लगाते हुए पोस्टमार्टम में गड़बड़ी की बात कही है.
परिजनों का ये भी आरोप है कि पोस्टमार्टम की वीडियोग्राफी नहीं की गई है. परिजनों ने मांग की है कि किसी अन्य राज्य में गुरविंदर के शव का पोस्टमार्टम करवाया जाए. अब बताया जा रहा है कि गुरविंदर के शव का पोस्टमार्टम एक बार फिर होगा और इस बार दिल्ली व लखनऊ के डॉक्टर इसे करेंगे. वहीं परिजनों का ये भी आरोप है कि पोस्टमार्टम की वीडियोग्राफी नहीं की गई है.
जानकारी के अनुसार गुरविंदर के घर पर उसका शव ले जाने के लिए एंबुलेंस पहुंच चुकी है. लेकिन परिजन फिलहाल राकेश टिकैत का इंतजार कर रहे हैं जो बहराइच के लिए रवाना हो चुके हैं. उनके आने के बाद ही निर्णय लिया जाएगा.
इससे पहले बहराइच में इस मामले को लेकर सियासत तेज हो गई है. मृतक किसानों के पक्ष में धरने पर बैठीं पूर्व सांसद सावित्री बाई फूले को पुलिस ने हिरासत में ले लिया गया था. वह मृतक किसान के घर के पास ही धरने पर बैठी थीं. मृतक किसानों के घर पर अलग-अलग पार्टी के कार्यकर्ताओ का आना लगातार जारी है.
बता दें लखीमपुर की घटना में 4 किसानों, 2 बीजेपी कार्यकर्ता, केंद्रीय गृह राज्यमंत्री अजय मिश्रा के ड्राइवर और स्थानीय पत्रकार की मौत की पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट सामने आ गई है. इसमें किसी की मौत घसीटने से तो किसी की लाठी-डंडों की पिटाई से मौत की बात है. पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट के अनुसार किसी की भी मौत गोली लगने की वजह से नहीं हुई है. पोस्टमॉर्टम के बाद सभी शवों को उनके परिजनों को सौंप दिया गया. इनमें दो किसानों व चार अन्य का अंतिम संस्कार सोमवार देर शाम और मंगलवार सुबह तक कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच किया गया.