अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जे के बाद से भारत सरकार अफगानिस्तान में फंसे भारतीयों को बाहर निकालने का काम कर रही है. भारत सरकार ने इस अभियान को “ऑपरेशन देवी शक्ति” का नाम दिया है. रिपोर्ट्स के मुताबिक अब तक 800 से अधिक भारतीय सहित अन्य देशों के लोगों को अफगानिस्तान से बाहर निकाला गया है.
भारत ने मंगलवार को दुशांबे से 78 लोगों को वापस लाया, जिनमें 25 भारतीय नागरिक और कई अफगान सिख एवं हिंदू शामिल हैं. एक दिन पहले उन्हें भारतीय वायु सेना के सैन्य परिवहन विमान से काबुल से दुशांबे पहुंचाया गया था. एस जयशंकर ने ट्विटर पर लिखा, “ऑपरेशन देवी शक्ति जारी है. काबुल से दुशांबे के जरिए 78 लोग पहुंचे हैं. भारतीय वायुसेना, एयर इंडिया और टीम विदेश मंत्रालय को उनके बिना थके प्रयासों के लिए सलाम.”
इस रेस्क्यू ऑपरेशन का नाम देवी शक्ति क्यों रखा गया है इसे लेकर अब तक कोई आधिकारिक बात सामने नहीं आई है. सूत्रों ने ऑपरेशन में शामिल लोगों के हवाले से बताया है कि ऑपरेशन देवी शक्ति नाम इसलिए चुना गया है क्योंकि यह रेस्क्यू मासूम और निर्दोष लोगों को हिंसा से बचाने की एक कोशिश है. यह ठीक वैसे ही है जैसे ‘मां दुर्गा’ राक्षसों से निर्दोषों को बचाती हैं. यहां यह भी ध्यान दिया जा सकता है कि पीएम नरेंद्र मोदी देवी दुर्गा के भक्त हैं और वह नवरात्रि के दिनों में उपवास रखते हैं.
सोशल मीडिया पर भी लोगों ने इसे अपने हिसाब से डिकोड करने की कोशिश की है. लोगों का कहना है कि यह ऑपरेशन अफगानिस्तान में फंसे लोगों के जीवन में उम्मीद और ख़ुशी ला रही है. यह ऑपरेशन बुराई पर जीत को दर्शाती है। ऐसे में इसे ऑपरेशन देवी शक्ति कहा जा रहा है.
हाल ही में सीसीएस की बैठक में प्रधानमंत्री मोदी ने अफसरों को निर्देश दिया था कि अफगानिस्तान से लोगों के बचाव अभियान को सिर्फ मानवीय नजरिए से देखा जाना चाहिए. उन्होंने कहा कि न केवल हिंदुओं और सिखों जैसे अल्पसंख्यकों को विभिन्न उड़ानों से अफगानिस्तान से वापस लाया गया है, बल्कि कई अफगान नागरिकों ने भी संकट की इस घड़ी में भारत आने का विकल्प चुना है.
भारत ने भी 16 अगस्त से लोगों को निकालने का अभियान शुरू किया था.अफगानिस्तान से लोगों को निकालने के अभियान के तहत भारत सिख और हिंदू समुदाय के अफगान समेत 800 से अधिक लोगों को यहां ला चुका है. तालिबान के कब्जे के बाद हजारों लोग काबुल एयरपोर्ट पर जमा हो रहे हैं और देश छोड़ने की कोशिश कर रहे हैं.