- मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे का ऐलान, मृतकों के आश्रितों को 5 लाख रुपये आर्थिक मदद
मुंबई, 20 जुलाई । महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले के खालापुर तहसील स्थित इरशालगढ़ नामक गांव में भारी बारिश से बुधवार देर रात भारी भूस्खलन से तकरीबन 17 घर मलबे में दब गए। जिले के इरशालवाड़ी गांव पर पहाड़ी धसकने के बाद हुए हादसे में अब तक 75 लोगों को मलबे से निकाला गया है, जिनमें से 7 लोगों की मौत हो गई।
घटना की जानकारी मिलते ही मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे मौके पर पहुंचे और अधिकारियों से घटना की जानकारी ली। मौके पर उपस्थित संरक्षक मंत्री उदय सामंत ने बताया कि बुधवार रात इरशालगढ़ गांव पर पहाड़ी का हिस्सा गिर गया था। इस घटना में पहाड़ी के मलबे से गांव के 17 घर पूरी तरह दब गए। देर रात हुई इस घटना में रात को राहत और बचाव कार्य मुश्किल हो गया था, लेकिन आज सुबह से यहां राहत और बचाव कार्य जारी है।
मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने मृतकों के आश्रितों को 5-5 लाख रुपये आर्थिक मदद देने की घोषणा की है। मुख्यमंत्री ने कहा कि इस घटना के सभी घायलों का सरकार की तरफ से मुफ्त इलाज करवाया जाएगा। मुख्यमंत्री शिंदे ने कहा कि इरशालवाड़ी बस्ती पहाड़ी के पास स्थित है। यहां 48 घर हैं, जिनमें से 17 घर मलबे में दबे हुए हैं। अब तक 7 लोगों की मौत हो चुकी है। अन्य लोगों को बचाने की कोशिशें जारी हैं। एनडीआरएफ, एसडीआरएफ के साथ स्थानीय बचाव दल बचाव अभियान चला रहे हैं।
मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने बताया कि इस घटना के बाद केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह का भी फोन आया, उन्होंने भी कहा कि जो मदद चाहिए होगी, केंद्र सरकार देगी। मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने कहा कि दो हेलीकॉप्टर तैयार हैं, लेकिन खराब मौसम के कारण वे उड़ान नहीं भर पा रहे हैं।
उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि यह घटना बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण है। कल रात करीब साढ़े दस बजे अचानक पहाड़ी धसकने से इरशालवाड़ी गांव के 17 घर दब गए हैं। यहां 48 परिवारों में 228 लोग रहते थे। मौसम में हो रहे परिवर्तन की वजह से पहाड़ी धसकने की घटना भी अलग-अलग जगह पर होने लगी है। घटनास्थल पर जाने के लिए रास्ता नहीं है, जेसीबी तक नहीं जा सकती है। मौके पर मलबा हटाने का काम जारी है।
उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने मुंबई में स्थित आपातकालीन कक्ष में बैठकर घटना के बारे में जानकारी ली। उन्होंने कहा कि घटनास्थल पर खुद मुख्यमंत्री हैं और मदद कार्य को नियंत्रित कर रहे हैं। एनडीआरएफ की टीम और मेडिकल टीम मौके पर काम कर रही है। संभावित पहाड़ी धसकने के स्पाट पहले ही तय किए गए थे, लेकिन जहां पहाड़ी धसकी, वह स्थान उस लिस्ट में नहीं था। घटनास्थल पर मलबा हटाने और उसमें फंसे लोगों को निकालने का काम जारी है।
जानकारी के अनुसार रायगढ़ जिले में बुधवार को 163 मिमि बारिश दर्ज की गई थी। भारी बारिश की वजह से रात में साढ़े 11 बजे- 12 बजे के बीच इरशालगढ़ गांव में पहाड़ी का हिस्सा धसक कर गांव के घरों पर गिर गया। उस समय पूरा गांव गहरी नींद में सो रहा था। लेकिन कुछ बच्चे गांव से कुछ दूर पर मोबाइल पर खेल रहे थे। इन बच्चों ने घटना की जानकारी प्रशासन तक पहुंचाई। यह गांव मोरबे जलाशय से 6 किमी दूर है। बताया जा रहा है कि गांव में आदिवासी लोग रहते हैं। गांव के बहुत से लोग काम की वजह से अन्य स्थानों पर गए हैं। घटना के बाद गांव में शोक फैल गया है।