निर्दलीय सांसद नवनीत राणा और उनके विधायक पति रवि राणा आज दिल्ली का दौरा करेंगे. वे वहां पीएम नरेंद्र मोदी व गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात कर महाराष्ट्र के अफसरों द्वारा जेल में उनके साथ बुरे बर्ताव की शिकायत करेंगे। राणा दंपति ने कहा कि उन्होंने कोर्ट की कोई अवमानना नहीं की है.
मुंबई में पत्रकारों से चर्चा करते हुए राणा दंपती ने कहा कि भाजपा की पीठ में छुरा घोंपने वाले सीएम उद्धव ठाकरे को हमें नियम सिद्धांतों का पाठ नहीं पढ़ाना चाहिए. राणा दंपती ने यह भी कहा कि मीडिया से बात करके उन्होंने कोई कोर्ट की अवमानना नहीं की.
जेल से बाहर आकर गृहमंत्री से उनकी इस मुलाकात के कई सियासी मायने निकाले जा रहे हैं. महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के घर के बाहर हनुमान चालीसा का पाठ करने की घोषणा करने के बाद नवनीत राणा और उनके पति रवि राणा को देशद्रोह के आरोप में जेल की हवा खानी पड़ी थी. हालांकि मुंबई सेशन कोर्ट ने उनको बेल दे दी इसके बाद उनकी तबियत खराब हो गई और अस्पताल में भर्ती होना पड़ा.
राणा दंपती को 4 मई को एक विशेष कोर्ट ने जमानत दी है. जमानत शर्तों के रूप में कोर्ट ने कहा है कि जमानत के दौरान वे ऐसा अपराध दोबारा नहीं करें, प्रेस को संबोधित न करें व इस केस के बारे में मीडिया से बात न करें.
राणा दंपती को 23 अप्रैल को मुंबई पुलिस ने गिरफ्तार किया था. उन्होंने सीएम उद्धव ठाकरे के निजी निवास मातोश्री के बाहर हनुमान चालीसा का पाठ करने का एलान किया था. इससे शिवसेना के कार्यकर्ता भड़क गए थे. 5 मई को जेल से रिहा होने के बाद नवनीत राणा को मुंबई के एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया था. उनके वकील ने तब कहा था कि उन्हें हाई ब्लड प्रेशर की, बदन दर्द व स्पॉन्डिलाइटिस की शिकायत है. रविवार को उन्हें अस्पताल से डिस्चार्ज कर दिया गया था.
अस्पताल से बाहर आकर उन्होंने एक बार फिर महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे पर हमला किया और कहा कि उनकी ये लड़ाई जारी रहेगी. उन्होंने उद्धव ठाकरे पर सत्ता का दुरुपयोग करने का आरोप भी लगाया और चुनौती दी कि अगर हिम्मत है तो उनके खिलाफ चुनाव लड़कर दिखाएं. उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र सरकार उन्हें किस बात की सजा दे रही है. अगर हनुमान चालीसा पढ़ना और भगवान का नाम लेना गुनाह है तो वो 14 दिन क्या 14 साल तक जेल में रहने के लिए तैयार हैं.
इससे पहले नवनीत राणा को अस्पताल में छुट्टी मिलने के बाद समर्थकों ने हनुमान जी की मूर्ति भेंटकर उनका स्वागत किया. इसके साथ ही, उनके माथे पर तिलक लगा और शॉल ओढाकर नवनीत राणा का लोगों ने स्वागत किया. हाथ में हनुमान चालीसा लेकर नवनीत राणा बाहर निकलीं. उन्होंने कहा कि अगर ये लगता है कि जेल से महिला की आवाज दबा सकते हैं तो हमारी लड़ाई भगवान के नाम से है और मैं उसे आगे भी जारी रखने वाली हूं.