मथुरा, 07 सितम्बर । श्रीकृष्ण जन्माष्टमी की धूम पूरे ब्रज में दिखाई दे रही है। चहुंओर कन्हैया के जयकारे सुनाई दे रहे हैं। गुरुवार रात लाखों भक्त श्रीकृष्ण जन्मोत्सव का साक्षी बनने के लिए कान्हा की जन्मस्थली मथुरा पहुंच गए है। पूरी मथुरा नगरी दुल्हन की तरह सजी हुई है। हर ओर उत्साह, उमंग और भक्ति का माहौल है। गुरुवार तड़के श्रीकृष्ण जन्मभूमि स्थित भगवत भवन में कार्यक्रमों की शुरुआत मंगला आरती के साथ की गई। इसके बाद सुबह 10 बजे शोभायात्रा निकाली गई। जिसमें 250 लोक कलाकारों ने अपनी प्रतिभा दिखाई। श्रीकृष्ण जन्मस्थान सहित प्रमुख मंदिरों में बुधवार शाम से ही रंग-बिरंगी रोशनी से जगमगा रही है।
तीर्थनगरी मथुरा में श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर कन्हैया की जन्मस्थली ब्रज में विभिन्न संस्कृतियों का समागम हुआ। बुंदेलखंड, भोजपुरी, हरियाणवी और ब्रज संस्कृति का समागम देख मथुरावासी ही नहीं देश-विदेश से आए भक्त भी आनंदित हो रहे हैं। श्रीकृष्ण जन्मभूमि स्थित भगवत भवन में कार्यक्रमों की शुरुआत मंगला आरती के साथ की गई। गुरुवार सुबह 8.30 बजे श्रीकृष्ण जन्मस्थान के मुख्य द्वार पर कैबिनेट मंत्री चौधरी लक्ष्मी नारायण, जयवीर सिंह, क्षेत्रीय विधायक राजेश चौधरी, ब्रज तीर्थ विकास परिषद के उपाध्यक्ष शैलजाकांत मिश्र ने संयुक्त रूप से शोभा यात्रा का शुभारंभ किया।
शोभा यात्रा के प्रारंभ में चार बंब नगाड़ों की आवाज से वातावरण गुंजायमान हो गया। इसके पीछे बनारस से आए श्रीराम जन्म योगी का शंखनाद अदभुत था। लगातार 10 मिनट तक एक ही स्वर में शंखनाद की गूंज आसपास के लोगों को आकर्षित करती नजर आई। इसके बाद उज्जैन का डमरू तथा बुंदेलखंड की महिलाओं के राई नृत्य ने लोगों का में मोह लिया।
बुंदेलखंड की अपनी वेशभूषा में महिलाएं बधाई गायन करते आसपास के लोगों के लिए आकर्षण बनी। कच्ची घोड़ी का नृत्य भी लुभाता रहा। ब्रज के कलाकारों ने भी ब्रज संस्कृति का प्रदर्शन किया। हरियाणा का बीन और मथुरा, वृंदावन के विभिन्न मंदिरों की मंगलियों ने भजन प्रस्तुत किए। स्थानीय लोगों ने विभिन्न राज्यों से आए लोक कलाकारों का पुष्प वर्षा कर अभिनंदन किया।